प्रोडक्टिविटी बढ़ाने के 5 तरीके | How to increase productivity in hindi

प्रोडक्टिविटी बढ़ाने के 5 तरीके | How to increase productivity in study at home in hindi


प्रोडक्टिविटी बढ़ाने के 5 तरीके | How to increase productivity in study at home in hindi


How to increase productivity at home in hindi


दोस्तों हेनरी फोर्ड जो कि फोर्ड मोटर कंपनी के मालिक और एक समय में मोस्ट सक्सेसफुल और रिच लोगों में शामिल थे उनका कहना था कि “Productivity को इंप्रूव करने का मतलब है कि हमारा कम पसीना बहाना ना कि ज्यादा पसीना बहाना” यहां हेनरी फोर्ड का कहना का मतलब था कि जबरदस्ती पसीना बहा के या गधा मजदूरी करके productive होना नहीं होता बल्कि productive होने का असली मतलब होता है स्मार्ट वर्क करना। अपना समय और ऊर्जा बचाने के लिए बिना फालतू में अपना समय गवाए इस पोस्ट में हम आपसे कुछ ऐसी बातें शेयर करेंगे जो आपको productive person बनाएंगी ऐसी प्रोडक्टिविटी जो आपको बेहतर परिणाम देगी। तो चलिए पढ़ते हैं How to increase productivity at home in hindi


How to increase productivity at home in Study hindi


1.) the 90/90/1 rule(नियम)


ज्यादातर लोगों को प्रोडक्टिव बनने के लिए अपने काम को करने का फर्स्ट एक्शन लेना भी मुश्किल होता है और यही विचार आता है कि यार सही समय पर स्टार्ट करूंगा या फिर अभी तो बहुत टाइम है शाम को करना स्टार्ट करूंगा। यही सोचने में पूरा दिन निकल जाता है और जहां सोचा था कि आज का दिन पूरा प्रोडक्टिव होगा वहीं दिन फिर शाम होने तक पूरा खराब हो चुका होता है।


जबकि अपने जरूरी काम को समय पर करना ही फर्स्ट स्टेप होता है प्रोडक्टिविटी का तो दोस्तों हम अपने सबसे जरूरी काम को सही समय पर शुरू कर सकें और हर रोज उससे हंड्रेड प्रतिशत प्रोडक्टिविटी कर सकें इसके लिए कैनेडियन ऑथर और लीडरशिप एक्सपर्ट रोबिन शर्मा हमें 90/90/1 rule के बारे में हमें बताते हैं।


इस रूल में आपको अगले 90 दिनों तक आपको अपने हर दिन की शुरुआत के 90 मिनट अपने बहुत जरूरी काम को करने में लगाना है जो आपके लिए करना सबसे ज्यादा जरूरी है। अब यह सबसे जरूरी काम आपकी पढ़ाई, आपका काम आप की प्रैक्टिस, और ट्रेनिंग कुछ भी हो सकता है। इससे यह फायदा होगा कि यह 90 दिन आपको अपना सबसे जरूरी काम करना सिखा देंगे। जिससे आप हर दिन प्रोडक्टिव काम करोगे क्योंकि यह रूल शुरुआत में यह रूल आपको अपने काम को बिना रुके हर दिन करते रहना सिखाता है। अगर आप का सबसे जरूरी काम 90 मिनट से ज्यादा का होता है तो आप उसे बाकी बचे दिन में तो कर ही सकते हैं। लेकिन अपने दिन की शुरुआत में उस काम को 90 मिनट जरूर करना है और इस रूल के बाद से यह 90 दिन का रूल आपकी आदत बन चुका होगा और आप खुद एक प्रोडक्टिव व्यक्ति होंगे।


2.) 5 तरीकों से आप अपने काम को ज्यादा बेहतर बना सकते हैं।


आप अलग अलग सक्सेसफुल और प्रोडक्टिव लोगों से इंस्पिरेशन जरूर लो लेकिन आप अपने अनुसार खुद का ही प्रोडक्टिव सिस्टम जरूर बनाओ। जिसमें यह फाइव स्टेप्स आपकी मदद करेंगे


1. अपनी क्षमताओं को जानें – आपको सबसे पहले खुद को समझना होगा कि आप कैसे व्यक्ति हो। क्या आपको हमेशा हार्ड वर्क करना पसंद है? या काम और लाइफ में बराबर बैलेंस बनाकर चलना पसंद है? आप हर दिन कितने घंटे अपने लक्ष्य के लिए मेहनत कर सकते हो और यहां आप खुद से झूठ नहीं बोल सकते हैं आपको गहराई से सोचना होगा।


2. सबसे ज्यादा जरूरी काम की सूची बनाएं – आपको एक प्रोडक्टिव बनना है तो आपको टू डू लिस्ट नहीं बल्कि एक सक्सेस लिस्ट बनानी होगी। आपको उन कामों की एक ऐसी लिस्ट बनानी है जो आपका सबसे ज्यादा टाइम वेस्ट करते हैं और आपको उन कामों की भी सूची बनानी है जो सच में आपकी लाइफ में सबसे ज्यादा जरूरी है और आपकी लाइफ में सबसे अच्छे रिजल्ट लाते हैं और यही काम आपको सबसे पहले करने है। और बाकी सारे काम बाद में। हमें अपने डेली टास्क की लिस्ट में सिर्फ तीन सबसे जरूरी काम लिखने चाहिए इससे ज्यादा नहीं। इससे दोस्तों होगा यह कि आप अपने अनुपयोगी कामों से बचोगे और आपकी जिंदगी में जो सबसे ज्यादा जरूरी है वही काम कर पाओगे।


3. हर दिन का शेड्यूल बनाएं– आपको अगर सुपर प्रोडक्टिव व्यक्ति बनना है तो आपको अपने हर महीने, दिन और सप्ताह को पहले से ही प्लान करके रखना है। अपने हर महीने, दिन और सप्ताह पहले से ही अच्छे से शेड्यूल करके रखना है।


4. अपने काम की एक समय सीमा तय करें – दोस्तों सोचो हर किसी काम की अगर कोई टाइम लिमिट या डेडलाइंस नहीं होती तो दुनिया में इतने गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड कैसे बन पाते? और जहां जो काम 1 घंटे में हो सकता है वहां 2 घंटे लगाकर क्यों टाइम खराब करना। यही चीज आपके सभी कामों में लागू होती है आपको काम स्टार्ट करने से पहले ही डिसाइड कर लेना है कि यह वर्क कितना टाइम लगा सकता है या कितने टाइम में इसे खत्म करना है ओर उस काम को सिर्फ उतना ही टाइम दो।


5. दिन में दो बार अपनी सूची देखें – लास्ट स्टेप में आपको करना सिर्फ इतना है जो भी लिस्ट सेटिंग अपने बनाए हैं आपको हर रोज उसे सोने से पहले और सुबह उठने के बाद उसे पढ़ना है ताकि वह आपके सबकॉन्शियस माइंड में बिलकुल छप जाए।



3.) हमेशा व्यस्त ना रहें – हमेशा बिजी रहना हमें यह महसूस कराता है कि हम कुछ काम कर रहे या प्रोग्रेस कर रहे हैं। लेकिन याद रखिए यह सिर्फ हमें लगता है जबकि सच्चाई यह है कि हमेशा बिजी रहने का मतलब यह नहीं हो सकता कि आप हमेशा प्रोडक्टिव हो, हमेशा बिजी रहना हमारे अंदर तनाव भी पैदा करता है और हम उन्हीं चीजों पर फोकस पर कर पाते हैं जो हमें उसी वक्त दिखती है। हमें नए तरीकों ओर काम करने के नए आडियाज पर सोचने के लिए टाइम ही नहीं बचता जब हम सुपर प्रोडक्टिव होने से ज्यादा सुपर बिजी होने पर ध्यान देते हैं।


एक स्टडी में यह पता चला है कि काम और काम के द्वारा लिए गए छोटे-छोटे ब्रेक्स या फिर कुछ महीनों बाद वेकेशन पर जाना हमारी हमारे मूड ओर काम करने की क्षमता को बेहतर करता है और हमारी प्रोडक्टिविटी को बढ़ाता है। रही बात लीडर, एक्सपर्ट और लाइफ कोचस की तो यह भी यही बात कहते हैं की जितना हमें काम करने जरूरी है उतना ही हमारे बॉडी दिमाग और को रेस्ट देना भी जरूरी है। क्योंकि यही रेस्ट का समय आपकी बॉडी और आपके ब्रेन को रिपेयर करके दोबारा तैयार करता है प्रोडक्टिव तरीके से काम करने के लिए वरना आप हमेशा थका हुआ, तनाव और आलसी महसूस करोगे और जबरदस्ती काम करोगे इसीलिए अपने शेड्यूल में अपने रेस्ट का टाइम भी जरूर जोड़ें। जहां आप हर रोज कुछ छोटे ब्रेक लेकर रिलैक्स करें।


4.) एक ऐसी जगह चुनें जहां आप सिर्फ अपना काम करें और कुछ नहीं।


अगर आप घर में रहकर प्रोडक्टिव होना चाहते हो घर पर कॉलेज में या कहीं और आपको यह टिप्स फॉलो करनी है जब आप अपना काम स्टडी या कुछ और कर रहे हो ताकि आपके आसपास का वातावरण प्रोडक्टिव और फोकस्ड रहो ना कि डिस्ट्रैक्टेड रहो।


आप जहां पर बैठकर काम कर रहे हो उसी जगह पर बैठकर आपको दूसरे काम नहीं करना है। जहां आप काम भी कर रहे हो, खाना भी खा रहे हो, सो भी रहे हो और अपना फोन भी यूज कर रहे हो इसके साथ टाइम भी वेस्ट कर रहे हो। आपको ऐसी जगह ढूंढना है जहां आप सिर्फ अपना काम स्टडी और प्रैक्टिस करते हों और कुछ नहीं। आपको अपने आसपास के लोगों को पहले से ही बोल कर रखना है कि जब मैं काम करूं तो मुझे कोई भी डिस्टर्ब ना करें जब तक कोई जरूरी काम ना हो।


No बोलना सीखो.. क्योंकि सबसे ज्यादा प्रोडक्टिव लोग फालतू चीजों और कामों को yes से ज्यादा No बोलते हैं। आपको अपने कड़े रूल बना कर रखना है कि आपको काम करते समय अपना मोबाइल बिल्कुल भी नहीं देखना है वह नोटिफिकेशन भी ऑफ करके रखना है। अपने तय समय पर वर्क और स्टडी कंप्लीट करने के बाद आप थोड़ी देर में छोटे-छोटे ब्रेक लेकर बाहर जरूर जाइए लेकिन बाहर जाने का मतलब यह नहीं कि आप रोड पर या पार्क में ही जाओ बल्कि आप अपने घर की बालकनी में या छत पर भी जा सकते हैं 10 या 15 मिनट के लिए।


हर दिन के अंत में आप अपने पूरे दिन के बारे में विचार करो। अगर दिन प्रोडक्टिव गया है तो खुद पर प्राउड करो अगर दिन अनप्रॉडक्टिव है तो देखो गलती कहां की और फिर अगले दिन फिर ट्राई करो।


5.) अपने समय के अनुसार बेहतर कार्य करें।


असल में देखा जाए तो सभी के पास उनके अनुसार पूरे दिन में एक ऐसा समय होता है जब वह मोस्ट प्रोडक्टिव होते हैं शायद आपके लिए सुबह का वक्त होता हों जब आप मोस्ट प्रोडक्टिव और एनर्जेटिक महसूस करते हैं। या फिर कोई शाम के समय में सबसे ज्यादा प्रोडक्टिव और एनर्जीटिक फील करता है और यह भी हो सकता है कि आप की क्रिएटिविटी और प्रोडक्टिविटी रात को अच्छी रहती हो। आपको अपनी एनर्जी ऐसे समय के लिए बचा कर रखनी चाहिए जब आप ज्यादा प्रोडक्टिव होते हैं आपको अपनी एनर्जी और प्रोडक्टिविटी ज्यादा व्यस्त समय में बर्बाद नहीं करना चाहिए जो कि आपको ज्यादा अच्छे रिजल्ट नहीं देती। आप किस वक्त काम करते हो यह ज्यादा जरूरी नहीं है जबकी यह जरूरी यह है कि आप काम कर रहे हो या नही।